श्रेष्ठता के मार्ग पर चलने के लिए इतनी बहादुरी की जरुरत है जितनी सिपाहियों को भी नहीं पड़ती |
सिपाहियों को कम ताकत की जरुरत है , लेकिन अपने मानसिक चोरों के विरुद्ध लड़ने के लिए बहुत बड़ी ताकत चाहिए ।
हम जिस चक्रव्यूह में फंसे हुए हैं , उसमें से निकलने के लिए बड़ी बहादुरी की जरुरत है - हिम्मत की जरुरत है ।
मेरे गुरुदेव ने मुझे यही हिम्मत दी और मेरा शक्तिपात हो गया | शक्तिपात होने के पश्चात् में बढ़ता हुआ चला आया |
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